उत्तराखंड के घोड़ाखाल मंदिर में एक अज्ञात भक्त ने गोलू देवता के प्रति अपनी अटूट आस्था का परिचय देते हुए 1500 किलो वजन की 30 घंटियां चढ़ाई। इस भक्ति से मंदिर में श्रद्धालुओं के बीच गोलू देवता के प्रति आस्था का अनूठा उदाहरण देखने को मिला।
घोड़ाखाल मंदिर, अल्मोड़ा : उत्तराखंड के प्रसिद्ध घोड़ाखाल मंदिर में आज एक अनाम भक्त ने 1500 किलो वजन की घंटियां चढ़ाकर अपनी गहरी श्रद्धा का परिचय दिया है। मंदिर प्रशासन के अनुसार, यह सभी घंटियां 50 किलो वजन की हैं और कुल मिलाकर 30 घंटियों का योगदान इस अनाम भक्त द्वारा किया गया है। घोड़ाखाल मंदिर उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले में स्थित है, और यहां के आराध्य देवता, गोलू देवता, को न्याय और आस्था के प्रतीक के रूप में माना जाता है। श्रद्धालुओं की मान्यता है कि उनकी मनोकामनाएं पूरी होने पर गोलू देवता के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने के लिए यहां घंटियां चढ़ाई जाती हैं।
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आज की इस विशेष घटना ने स्थानीय लोगों और मंदिर प्रबंधन के बीच उत्सुकता और आश्चर्य का वातावरण उत्पन्न कर दिया है। मंदिर परिसर में बड़ी संख्या में घंटे और घंटियों का चढ़ावा एक आम दृश्य है, परंतु इतने बड़े पैमाने पर एक साथ चढ़ाई गई 1500 किलो की घंटियों का यह प्रसंग विशेष रूप से अनूठा है। मंदिर में आने वाले श्रद्धालु इस अद्वितीय चढ़ावे को देखकर भावविभोर हो रहे हैं और इसे गोलू देवता की शक्ति और भक्तों की अटूट श्रद्धा का प्रतीक मान रहे हैं।
इस चढ़ावे को लेकर मंदिर के पुजारियों और भक्तों में गोलू देवता की महिमा को लेकर विशेष चर्चा हो रही है। भक्तों का मानना है कि यह अनाम श्रद्धालु की बड़ी आस्था का प्रतीक है और इससे गोलू देवता के प्रति श्रद्धालुओं की गहरी आस्था और विश्वास का पता चलता है। गोलू देवता के प्रति इस अनन्य भक्ति से मंदिर की पवित्रता और आकर्षण में एक और नया आयाम जुड़ गया है।
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